Saturday, August 29, 2009
ई-मेल... लेकिन जरा बच के......!
दुनिया भर में आई सूचना और संचार क्रांति से हमें अगर किसी चीज ने सबसे ज्यादा प्रभावित किया है तो वे हैं मोबाइल फोन और इंटरनेट। इंटरनेट ने आपसी संपर्क और सूचना के आदान प्रदान के क्षेत्र में आमूलचूल तब्दीली लाने में काफी अहम भूमिका निभायी है।इंटरनेट पर मौजूद ‘सर्च इंजन’ के अलावा ‘ई-मेल’ यानी इलेक्ट्रॉनिक मेल सेवा संचार क्रांति में खासी मददगार साबित हुई है। ‘ई-मेल’ की मदद से दुनिया के किसी भी कोने में बैठे शख्स से हम बात कर सकते हैं। शर्त बस इतनी है कि वह शख्स इंटरनेट की सेवा से महरूम न हो।‘ई-मेल’ एक डिजिटल सेवा है जिसके इस्तेमाल से एक दूसरे के संपर्क में रहने के अलावा किसी चीज का प्रचार-प्रसार भी किया जा सकता है ई-मेल के आविष्कार के पीछे मकसद दो या दो से अधिक लोगों के बीच सूचना का तेजी से आदान-प्रदान करना था लेकिन अब इसका गलत इस्तेमाल भी धड़ल्ले से हो रहा है ई-मेल के जरिये जहाँ किसी की मानहानि हो सकती है वहीं, ‘एनोनिमिटी’ यानी अपना असली नाम छुपाकर इसका दुरूपयोग भी किया जा सकता है। कोई भी शख्स किसी के ई-मेल आई-डी यानी किसी अन्य की पहचान और पासवर्ड जानकर दूसरों को धमकी भरा संदेश भेज सकता है और इस मामले की जाँच होने पर वह शख्स शक के दायरे में आएगा जिसके ई-मेल आई-डी से धमकी दी गई। लोगों को अपना काम खत्म होने के बाद सही तरीके से ‘साइन आउट’ करने, किसी को भूलकर भी अपना पासवर्ड नहीं बतानी चाहिए ई-मेल के गलत इस्तेमाल के मामले में सजा के प्रावधान भी है, मानहानि के मामले में भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी कानून के तहत तीन साल की सजा और पाँच लाख रूपए का जुर्माना हो सकता है। इसी तरह ‘स्पैमिंग’, यानी किसी ऐसे व्यक्ति से आपको ई-मेल मिलना जिसे आपने आमंत्रित ही नहीं किया हो, को भारत सहित दुनिया के कई देशों में अपराध घोषित किया गया है।ई-मेल इस्तेमाल करने वालों के सामने आने वाली एक बहुत ही आम समस्या है उनके एकाउंट में वायरस का संचार। दूसरों के एकाउंट में वायरस भेजना भी एक दंडनीय अपराध है। इसमें भी आईटी कानून के तहत तीन साल की सजा हो सकती है। ई -मेल के इस्तेमाल की शुरुआत का इतिहास 1971 से मिलता है। सबसे पहले अमेरिकी रक्षा मंत्रालय के तहत काम करने वाली कंपनी ‘बोल्ट बेरानेक एंड न्यूमैन’ (बीबीएन) के कंप्यूटर इंजीनियर रहे रे। टॉमलिनसन ने वर्ष 1971 में ई मेल का इस्तेमाल किया। यह पहला इस्तेमाल एक साथ रखे गये दो कम्प्यूटरों के बीच हुआ था।
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